बेगूसराय से बड़ी खबर आ रही है। जो पुलिस अधिकारी अब तक यह सोचकर चैन की नींद सो रहे थे कि "कोई पूछने वाला नहीं है", उनके लिए अब मुश्किलें शुरू हो चुकी हैं।
डीआईजी आशीष भारती ने अनुसंधान में ढिलाई बरतने वाले 9 पुलिस पदाधिकारियों के खिलाफ विभागीय कार्रवाई की सिफारिश कर दी है।
❗ क्यों गिरी गाज?
इन पुलिस अधिकारियों से पहले स्पष्टीकरण मांगा गया, लेकिन इन्होंने तय समय पर कोई जवाब नहीं दिया। डीआईजी ने इसे सीधी तौर पर अनुशासनहीनता और कर्तव्य के प्रति लापरवाही माना — और अब इन पर कार्रवाई होगी।
👁️ डीआईजी का सख्त रुख
आशीष भारती पहले से ही लंबित मामलों के त्वरित निपटारे और गुणवत्तापूर्ण जांच को लेकर सख्त हैं। हाल में जब फाइलों की समीक्षा हुई तो पता चला कि कुछ अफसर मामले को घिसटते जा रहे हैं — न कोई ठोस जांच, न निष्कर्ष।
🔎 किस पर हुई कार्रवाई की सिफारिश?
ये रहे वो नाम जो अब सवालों के घेरे में हैं:
अभिषेक कुमार – मुफस्सिल थाना (कांड संख्या 551/22)
राम प्रवेश राय – चेरिया बरियारपुर (76/24)
राधा स्वामी पांडे – बलिया (59/21)
मंजू कुमारी – छौड़ाही (46/24)
मोईनउद्दीन – तेयाय (56/24)
राहुल पासवान – बछवाड़ा (148/23)
राम प्रताप पासवान – एसटीएससी थाना (44/23)
पूनम देवी – एसटीएससी थाना (44/23)
संजीव कुमार – बलिया (310/24)
🔔 संदेश साफ है:
अब अगर कोई पुलिस अफसर अपने फर्ज से मुंह मोड़ेगा, तो वो बच नहीं पाएगा। आला अधिकारी अब जवाब भी मांग रहे हैं और जवाबदेही भी तय कर रहे हैं।